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स्वच्छता के लिए अलर्ट करेगा आईआईटी खड़गपुर का डिटेक्टर

आईआईटी खड़गपुर के शोधकर्ताओं ने कम लागत वाला गंदगी डिटेक्टर विकसित किया है। यह किसी स्थान पर गंदगी होने पर ऑनलाइन अलर्ट भेजता है। स्मार्ट हाइजीन मॉनिटर (एसएचएम) सेंसर के माध्यम से अमोनिया, सल्फर डाइऑक्साइड, कार्बन मोनोऑक्साइड, कार्बन डाइऑक्साइड, वाष्पशील कार्बनिक यौगिकों और कणों का स्तर दर्ज करता है और जरूरत पड़ने पर संबंधित व्यक्ति को ऑनलाइन अलर्ट भेजता है। यह किसी भी जगह पर स्थापित किया जा सकता है, जहां नियमित अंतराल पर सफाई की निगरानी की जानी चाहिए। वर्तमान में  शौचालय, भोजनालय, अस्पताल, पार्क, हवाईअड्डे और रेलवे स्टेशन जैसे सार्वजनिक सुविधाएं आम तौर पर निर्धारित अंतराल पर साफ होती हैं, भले ही वो कितने गंदी हो।


डिजिटल इवोल्यूशन इंडेक्स  (डीईआई) 2017 में 60 देशों में भारत का 53 वां स्थान है। सूची में नॉर्वे सबसे ऊपर है, इसके बाद स्वीडन, स्विट्ज़रलैंड, डेनमार्क और फिनलैंड हैं। टफ्ट्स यूनिवर्सिटी के द फ्लेचर स्कूल ने  मास्टर कार्ड के साथ मिलकर डिजिटल इवोल्यूशन इंडेक्स (डीईआई) 2017 पेश किया है। यह सूचकांक व्यापक स्तर पर किए गए शोध का नतीजा है, जो 60 देशों में डिजिटल अर्थव्यवस्था की प्रगति को ट्रैक करता हैयह 100 से अधिक विभिन्न संकेतकों को ध्यान में रखते हुए तैयार किया जाता है। इसमें आपूर्ति, उपभोक्ता की मांग, संस्थागत वातावरण और नवीनता शामिल हैं। यह किसी देश की डिजिटल विकास दर को दर्शाता है


पंजाब सरकार ने हाल ही में 100 उबेर मोटो बाइक को झंडी दिखाकर बेरोजगार युवाओं के लिए ‘अपनी गड्डी अपना रोज़गार’ योजना शुरू की है। इस योजना के तहत राज्य सरकार बेरोजगार युवाओं को सब्सिडी पर वाणिज्यिक दो पहिया और चार पहिया वाहन उपलब्ध कराएगी। यह योजना पंजाब के युवाओं के लिए खास साबित होने की उम्मीद व्यक्त की जा रही है। माना जा रहा है कि पूरे राज्य में माइक्रो एंटरप्रिन्योरशिप को प्रोत्साहित करने में यह योजना खास होगी। उबेर का लक्ष्य एक साल में पंजाब में माइक्रो एंटरप्रिन्योरशिप के 10 हजार तथा अगले पांच साल में कुल 45 हजार अवसर उपलब्ध कराने का है।


 

Rajesh Pandey

उत्तराखंड के देहरादून जिला अंतर्गत डोईवाला नगर पालिका का रहने वाला हूं। 1996 से पत्रकारिता का छात्र हूं। हर दिन कुछ नया सीखने की कोशिश आज भी जारी है। लगभग 20 साल हिन्दी समाचार पत्रों अमर उजाला, दैनिक जागरण व हिन्दुस्तान में नौकरी की, जिनमें रिपोर्टिंग और एडिटिंग की जिम्मेदारी संभाली। बच्चों सहित हर आयु वर्ग के लिए सौ से अधिक कहानियां एवं कविताएं लिखी हैं। स्कूलों एवं संस्थाओं के माध्यम से बच्चों के बीच जाकर उनको कहानियां सुनाने का सिलसिला आज भी जारी है। बच्चों को कहानियां सुनाने, उनसे बातें करने, कुछ उनको सुनने और कुछ अपनी सुनाना पसंद है। रुद्रप्रयाग के खड़पतियाखाल स्थित मानव भारती संस्था की पहल सामुदायिक रेडियो ‘रेडियो केदार’ के लिए काम करने के दौरान पहाड़ के गांवों की अनकही कहानियां लोगों तक पहुंचाने का प्रयास किया। सामुदायिक जुड़ाव के लिए गांवों में जाकर लोगों से संवाद करना, विभिन्न मुद्दों पर उनको जागरूक करना, कुछ अपनी कहना और बहुत सारी बातें उनकी सुनना अच्छा लगता है। ऋषिकेश में महिला कीर्तन मंडलियों के माध्यम के स्वच्छता का संदेश देने की पहल की। छह माह ढालवाला, जिला टिहरी गढ़वाल स्थित रेडियो ऋषिकेश में सेवाएं प्रदान कीं। बाकी जिंदगी को जी खोलकर जीना चाहता हूं, ताकि बाद में ऐसा न लगे कि मैं तो जीया ही नहीं। शैक्षणिक योग्यता: बी.एससी (पीसीएम), पत्रकारिता स्नातक और एलएलबी संपर्क कर सकते हैं: प्रेमनगर बाजार, डोईवाला जिला- देहरादून, उत्तराखंड-248140 राजेश पांडेय Email: rajeshpandeydw@gmail.com Phone: +91 9760097344

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