
NCERT General Assembly: शिक्षा मंत्री ने कहा, पहली कक्षा में प्रवेश के लिए 6 वर्ष की आयु सीमा में रियायत मिले
12वीं कक्षा तक की पाठ्यपुस्तकें एनसीईआरटी के माध्यम से सभी राज्यों को उपलब्ध कराई जाएं
NCERT General Assembly Uttarakhand Minister Suggestions 2025
एनसीईआरटी की आमसभा में उत्तराखंड के शिक्षा मंत्री डा. रावत के सुझाव
- 12वीं कक्षा तक की पाठ्यपुस्तकें एनसीईआरटी के माध्यम से सभी राज्यों को उपलब्ध कराई जाएं ताकि नया शैक्षणिक सत्र शुरू होने पर विद्यालयों में छात्र-छात्राओं को पाठ्यपुस्तकें उपलब्ध हो सकें।
- वर्तमान में कई राज्य अपने स्तर पर पाठ्यपुस्तकें प्रकाशित कर विद्यालयों में उपलब्ध कराते हैं, जिनमें तमाम खामियां सामने आती हैं। साथ ही, समय पर बच्चों को किताबें भी नहीं उपलब्ध हो पाती हैं।
- पहली कक्षा में बच्चों के प्रवेश के लिये 6 वर्ष की आयु सीमा में रियायत देने की बात रखी और कहा कि उम्र की बाध्यता के चलते इस शैक्षणिक सत्र में कई बच्चे प्रवेश से वंचित रह गए हैं।
- सभी राज्यों में बालवाटिका लागू करने का भी सुझाव दिया।
- गुणवत्तापरक शिक्षा के लिए एनसीईआरटी को टीचर्स ट्रेनिंग पर विशेष फोकस करना चाहिए, ताकि राज्य भी एससीईआरटी के माध्यम से अपने प्रदेश के शिक्षकों को रोटेशन के आधार पर विशेष प्रशिक्षण देकर एनईपी-2020 के अनुरूप दक्ष बना सके।
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देहरादून/दिल्ली, 02 मई 2025ः प्रदेश के विद्यालयी शिक्षा मंत्री डॉ. धन सिंह रावत ने राष्ट्रीय शैक्षिक अनुसंधान और प्रशिक्षण परिषद (एनसीईआरटी) की 59वीं आम सभा में कई अहम सुझाव रखे। केंद्रीय शिक्षा मंत्री धर्मेन्द्र प्रधान की अध्यक्षता में हुई इस बैठक में डा. रावत ने सभी राज्यों को 12वीं कक्षा तक की पाठ्य पुस्तकें एनसीईआरटी से उपलब्ध कराने का सुझाव रखा।
साथ ही, बच्चों को पहली कक्षा में प्रवेश के लिए निर्धारित 06 वर्ष की आयु सीमा में रियायत देने तथा विद्यालयों में गुणवत्तापरक शिक्षा के लिये टीचर्स ट्रेनिंग कराने का सुझाव दिया। NCERT General Assembly
एनडीएमएस सम्मेलन केन्द्र, नई दिल्ली में शुक्रवार को एनसीईआरटी जनरल काउंसिल की 59वीं बैठक हुई।
केन्द्रीय शिक्षा मंत्री ने कहा कि नई शिक्षा नीति-2020 की अनुशंसा के अनुरूप पाठ्यपुस्तकों एवं अन्य शैक्षिक सामग्रियों को तैयार किया गया है, ताकि शिक्षा की गुणवत्ता में और अधिक सुधार हो सके। इस दौरान बैठक में एनसीईआरटी के कई प्रस्तावों को भी अनुमोदित किया गया।
डॉ. रावत ने कहा कि निपुण भारत योजना के तहत उत्तराखंड में अच्छा कार्य किया जा रहा है। प्रदेश में एनईपी-2020 की अनुशंसा के अनुरूप सभी राजकीय एवं निजी विद्यालयों में बैगलेस डे लागू कर दिया गया है और बच्चों के बस्ते का बोझ भी मानकों के अनुरूप कर दिया गया है। इसके अलावा, राज्य में कलस्टर विद्यालय भी बनाए जा रहे हैं।
डॉ. रावत ने प्रदेश में पीएम-श्री स्कूल के अंतर्गत चयनित अन्य विद्यालयों को स्वीकृति प्रदान करने तथा एनसीईआरटी की आमसभा की अगली बैठक उत्तराखंड में आयोजित करने की मांग केन्द्रीय शिक्षा मंत्री के समक्ष रखी।