नई दिल्ली। देश में जमीनी स्तर पर खेल बुनियादी ढांचे को मजबूत करने के लिए कम लागत वाला व प्रभावी खेल प्रशिक्षण तंत्र विकसित किया गया है, जहां पूर्व “चैंपियन खिलाड़ी” को कोच और सलाहकार बनाया जाएगा, ताकि इससे जमीनी स्तर पर खिलाड़ियों के प्रशिक्षण के लिए उनकी विशेषज्ञता और अनुभव का उचित उपयोग किया जा सके और उनके लिए आय का एक स्थायी स्रोत सुनिश्चित किया जा सके।
प्रत्येक खेलो इंडिया केंद्र (Khelo India Center) को कोच (Sports coach) के रूप में पूर्व चैंपियन एथलीट (Ex. Athlete Champion) के मेहनताना, सहायक स्टाफ, उपकरण की खरीद, खेल किट, उपभोग के लिए सामग्रियों, प्रतियोगिता और आयोजनों में भागीदारी के लिए अनुदान प्रदान किया जाएगा। 26 राज्यों एवं केंद्रशासित प्रदेशों के 267 जिलों में 360 केआईसी (KYC) खोले गए हैं।
इन केंद्रों द्वारा प्रतिभा पूल के चयन को अंतिम रूप दिया जाना बाकी है। प्रत्येक केआईसी को मौजूदा सुविधा के विकास, खेल मैदान, खेल उपकरण और उपभोग योग्य सामग्रियों आदि के लिए शुरुआत में 5 लाख रुपये का अनावर्ती अनुदान प्रदान किया जाता है।
इसके अतिरिक्त, अगले चार वर्षों तक प्रत्येक साल 5 लाख रुपये आवर्ती अनुदान के रूप में खेल उपकरणों की खरीद व उपभोग के लिए खेल किट आदि और बतौर कोच/सलाहकार नियुक्त पूर्व चैंपियन खिलाड़ियों के पारिश्रमिक जैसे आवर्ती व्यय को पूरा करने के लिए दिए जाते हैं।
यह जानकारी युवा कार्यक्रम और खेल मंत्री अनुराग ठाकुर ने आज राज्यसभा में एक सवाल के लिखित उत्तर में दी।
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