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उत्तराखंडः विद्यालयी शिक्षा विभाग बनाएगा मानव संपदा पोर्टल, ऑनलाइन होंगे शिक्षकों व कर्मियों के ट्रांसफर

हर जिले में बनाए जाएंगे आवासीय मॉडल विद्यालयः शिक्षा मंत्री

देहरादून।
विद्यालयी शिक्षा विभाग में कार्यरत शिक्षकों एवं शिक्षणेत्तर कार्मिकों के सम्पूर्ण डाटा के रखरखाव के लिए शीघ्र ही मानव सम्पदा पोर्टल बनाया जाएगा, जिसमें कार्मिकों की सम्पूर्ण सेवा काल का लेखा-जोखा सुरक्षित रहेगा। भारतीय ज्ञान परम्परा से नई पीढ़ी को जोड़ने के उद्देश्य से सभी जनपदों में एक-एक आवासीय मॉडल विद्यालय बनाए जाएंगे।

उत्तराखंड के विद्यालयी शिक्षा मंत्री डॉ. धन सिंह रावत ने गुरुवार को विधानसभा स्थित कार्यालय कक्ष में शिक्षा विभाग की समीक्षा बैठक ली।

उन्होंने विभाग में तैनात सभी शिक्षकों एवं शिक्षणेत्तर कार्मिकों के सम्पूर्ण सेवाकाल का रिकॉर्ड सुरक्षित रखने के दृष्टिगत ‘मानव सम्पदा’ पोर्टल बनाने के निर्देश विभागीय अधिकारियों को दिये। उन्होंने कहा कि नई शिक्षा नीति-2020 के तहत शिक्षकों एवं कार्मिकों के स्थानांतरण भी ऑनलाइन किए जाएंगे, इसके लिए सभी कार्मिकों का डाटा एक ही प्लेटफार्म पर उपलब्ध होना जरूरी है।

विद्यालयी शिक्षा मंत्री ने कहा, मानव सम्पदा पोर्टल एक बेहतर विकल्प है, जिसमें एक ही क्लिक पर किसी भी कार्मिक का सम्पूर्ण सेवा काल का डाटा देखा जा सकेगा। जिससे स्थानांतरण तथा पदोन्नति में पारदर्शिता तो रहेगी साथ ही समय की भी बचत होगी।

विभागीय मंत्री ने कहा कि प्रत्येक जनपद में एक-एक आवासीय विद्यालय के चिह्नीकरण के लिए कुछ मानक निर्धारित किए जाएंगे। जहां पर गुणवत्तापरक शिक्षा के साथ ही पारम्परिक शिक्षा एवं भारतीय संस्कृति का समावेश देखने को मिलेगा। विद्यालय के पास पर्याप्त भूमि एवं अन्य मूलभूत सुविधाओं का होना जरूरी होगा। इन विद्यालयों में कक्षा-06 से 12 तक के छात्रों को प्रवेश दिया जाएगा।

डॉ. रावत ने कहा कि प्रदेश में एनसीसी विस्तार योजना के तहत प्रत्येक ब्लॉक के एक विद्यालय एनसीसी की इकाई खोली जाएगी। जिसके लिए अधिकारियों को विद्यालय के चयन के निर्देश दिए गए हैं।

बैठक में पीएम-श्री एवं कलस्टर विद्यालयों के चयन की प्रगति के साथ ही अटल उत्कृष्ट विद्यालयों में शिक्षकों की तैनाती को लेकर भी चर्चा की गई। इसके अलावा प्राथमिक एवं माध्यमिक विद्यालयों के जीर्ण-शीर्ण भवनों के नव निर्माण एवं मरम्मत की भी समीक्षा की गई। ऐसे विद्यालयों के शीघ्र डीपीआर तैयार कर शासन को उपलब्ध कराने के निर्देश दिए गए।

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Rajesh Pandey

उत्तराखंड के देहरादून जिला अंतर्गत डोईवाला नगर पालिका का रहने वाला हूं। 1996 से पत्रकारिता का छात्र हूं। हर दिन कुछ नया सीखने की कोशिश आज भी जारी है। लगभग 20 साल हिन्दी समाचार पत्रों अमर उजाला, दैनिक जागरण व हिन्दुस्तान में नौकरी की, जिनमें रिपोर्टिंग और एडिटिंग की जिम्मेदारी संभाली। बच्चों सहित हर आयु वर्ग के लिए सौ से अधिक कहानियां एवं कविताएं लिखी हैं। स्कूलों एवं संस्थाओं के माध्यम से बच्चों के बीच जाकर उनको कहानियां सुनाने का सिलसिला आज भी जारी है। बच्चों को कहानियां सुनाने, उनसे बातें करने, कुछ उनको सुनने और कुछ अपनी सुनाना पसंद है। रुद्रप्रयाग के खड़पतियाखाल स्थित मानव भारती संस्था की पहल सामुदायिक रेडियो ‘रेडियो केदार’ के लिए काम करने के दौरान पहाड़ के गांवों की अनकही कहानियां लोगों तक पहुंचाने का प्रयास किया। सामुदायिक जुड़ाव के लिए गांवों में जाकर लोगों से संवाद करना, विभिन्न मुद्दों पर उनको जागरूक करना, कुछ अपनी कहना और बहुत सारी बातें उनकी सुनना अच्छा लगता है। ऋषिकेश में महिला कीर्तन मंडलियों के माध्यम के स्वच्छता का संदेश देने की पहल की। छह माह ढालवाला, जिला टिहरी गढ़वाल स्थित रेडियो ऋषिकेश में सेवाएं प्रदान कीं। बाकी जिंदगी की जी खोलकर जीना चाहता हूं, ताकि बाद में ऐसा न लगे कि मैं तो जीया ही नहीं। शैक्षणिक योग्यता: बी.एससी (पीसीएम), पत्रकारिता स्नातक और एलएलबी संपर्क कर सकते हैं: प्रेमनगर बाजार, डोईवाला जिला- देहरादून, उत्तराखंड-248140 राजेश पांडेय Email: rajeshpandeydw@gmail.com Phone: +91 9760097344

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