FeaturedsportsUttarakhand

सीएम ने शानदार प्रदर्शन के लिए हॉकी खिलाड़ी वंदना कटारिया को बधाई दी

मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने वर्चुअल माध्यम से टोकियो ओलंपिक में प्रतिभाग करने वाली भारतीय हॉकी खिलाड़ी वंदना कटारिया से बात कर शानदार प्रदर्शन के लिए वंदना एवं महिला हॉकी टीम में प्रतिभाग करने वाली सभी खिलाड़ियों को बधाई दी। उन्होंने सभी खिलाड़ियों को मनोबल बनाए रखने को कहा।

मुख्यमंत्री ने कहा की वंदना कटारिया के शानदार प्रदर्शन से प्रदेश का मान सम्मान बढ़ा है। मुख्यमंत्री ने वंदना को टोकियो से वापस आते ही मुख्यमंत्री आवास में मिलने हेतु आमंत्रित किया।

मुख्यमंत्री ने कहा कि खेलों को प्रोत्साहित करने के लिए राज्य में नई खेल नीति बनाई जा रही है। जिसमें विभिन्न खेलों में प्रतिभाग करने वाले खिलाड़ियों को हर संभव सुविधा दी जाएगी।

मुख्यमंत्री धामी ने भारतीय महिला हॉकी टीम की खिलाड़ी वंदना कटारिया को सम्मान राशि 25 लाख रुपए दिये जाने की घोषणा की है। उन्होंने कहा कि वंदना कटारिया को तीलू रौतेली पुरस्कार से भी सम्मानित किया जाएगा।

मुख्यमंत्री ने वंदना कटारिया के भाई सौरभ कटारिया से भी फोन से वार्ता कर वंदना के शानदार प्रदर्शन पर बधाई दी। भारतीय महिला हॉकी खिलाड़ी वंदना कटारिया ने उत्साहवर्धन पर मुख्यमंत्री का आभार व्यक्त किया। इस अवसर पर सचिव हरि चंद्र सेमवाल भी उपस्थित थे।

Key Words:- Indian women Hockey, Vandana Katariya, #Tokyo2020, #Tokyo olympic 2020, Indian Hockey player, CM Uttarakhand, Uttarakhand CM

Rajesh Pandey

राजेश पांडेय, देहरादून (उत्तराखंड) के डोईवाला नगर पालिका के निवासी है। पत्रकारिता में  26 वर्ष से अधिक का अनुभव हासिल है। लंबे समय तक हिन्दी समाचार पत्रों अमर उजाला, दैनिक जागरण व हिन्दुस्तान में नौकरी की, जिनमें रिपोर्टिंग और एडिटिंग की जिम्मेदारी संभाली। 2016 में हिन्दुस्तान से मुख्य उप संपादक के पद से त्यागपत्र देकर बच्चों के बीच कार्य शुरू किया।   बच्चों के लिए 60 से अधिक कहानियां एवं कविताएं लिखी हैं। दो किताबें जंगल में तक धिनाधिन और जिंदगी का तक धिनाधिन के लेखक हैं। इनके प्रकाशन के लिए सही मंच की तलाश जारी है। बच्चों को कहानियां सुनाने, उनसे बातें करने, कुछ उनको सुनने और कुछ अपनी सुनाना पसंद है। पहाड़ के गांवों की अनकही कहानियां लोगों तक पहुंचाना चाहते हैं।  अपने मित्र मोहित उनियाल के साथ, बच्चों के लिए डुगडुगी नाम से डेढ़ घंटे के निशुल्क स्कूल का संचालन किया। इसमें स्कूल जाने और नहीं जाने वाले बच्चे पढ़ते थे, जो इन दिनों नहीं चल रहा है। उत्तराखंड के बच्चों, खासकर दूरदराज के इलाकों में रहने वाले बच्चों के लिए डुगडुगी नाम से ई पत्रिका का प्रकाशन किया।  बाकी जिंदगी की जी खोलकर जीना चाहते हैं, ताकि बाद में ऐसा न लगे कि मैं तो जीया ही नहीं। शैक्षणिक योग्यता - बी.एससी (पीसीएम), पत्रकारिता स्नातक और एलएलबी, मुख्य कार्य- कन्टेंट राइटिंग, एडिटिंग और रिपोर्टिंग

Related Articles

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back to top button